नई दिल्ली। रेल घूसकांड में सीबीआई की पड़ताल जैसे-जैसे आगे बढ़ रही है, नए खुलासे सामने आ रहे हैं।
एक अखबार ने नया खुलासा किया है कि महेश कुमार ने बोर्ड में सदस्य का पद संभालने के महज नौ दिन के भीतर 269 करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट्स को मंजूरी दे दी थी।
अखबार की खबर में बताया गया है कि रेलवे से जुड़े कई प्रोजेक्ट्स की मंजूरी के दौरान नियमों की खुलकर धज्जियां उड़ाई गईं। जिन नियमों का इस दौरान पालन किया जाना चाहिए था उन्हें ताक पर रख दिया गया।
यह मंजूरी महेश कुमार ने रेलवे बोर्ड के मेंबर बनने और घूसकांड में हुई अपनी गिरफ्तारी के बीच दी। महेश कुमार ने वेस्टर्न रेलवे के इस प्रोजेक्ट को मंजूरी, बिना किसी स्क्रूटनी के ही दे दी।
गौरतलब है कि सीबीआई ने इस मामले में अब तक पूर्व रेल मंत्री पवन कुमार बंसल के भांजे विजय सिंगला और महेश कुमार सहित नौ लोगों को गिरफ्तार किया है। महेश कुमार को बोर्ड से निलम्बित कर दिया है।
- (एजेंसी)
एक अखबार ने नया खुलासा किया है कि महेश कुमार ने बोर्ड में सदस्य का पद संभालने के महज नौ दिन के भीतर 269 करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट्स को मंजूरी दे दी थी।
अखबार की खबर में बताया गया है कि रेलवे से जुड़े कई प्रोजेक्ट्स की मंजूरी के दौरान नियमों की खुलकर धज्जियां उड़ाई गईं। जिन नियमों का इस दौरान पालन किया जाना चाहिए था उन्हें ताक पर रख दिया गया।
यह मंजूरी महेश कुमार ने रेलवे बोर्ड के मेंबर बनने और घूसकांड में हुई अपनी गिरफ्तारी के बीच दी। महेश कुमार ने वेस्टर्न रेलवे के इस प्रोजेक्ट को मंजूरी, बिना किसी स्क्रूटनी के ही दे दी।
गौरतलब है कि सीबीआई ने इस मामले में अब तक पूर्व रेल मंत्री पवन कुमार बंसल के भांजे विजय सिंगला और महेश कुमार सहित नौ लोगों को गिरफ्तार किया है। महेश कुमार को बोर्ड से निलम्बित कर दिया है।
- (एजेंसी)
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